माल कम औलाद ज़्यादा
हज़रत अबू सईद खुदरी फरमाते हैं कि नबी -ए- करीम ﷺ ने इरशाद फ़रमाया :
जिस के पास माल कम हो, औलाद ज़्यादा हो, नमाज़ अच्छी और किसी मुसलमान की गीबत ना करे तो क़ियामत के दिन वोह आयेगा और मेरे साथ होगा।
(انظر: مسند ابو یعلی اردو، جلد اول، ص555، ر986)
अब ज़रा मुआशरे की तरफ देखें :
माल ज़्यादा है, औलाद कम हैं, नमाज़ बिल्कुल अच्छी नहीं है और गीबत करना तो रोज़ाना का मामूल है।
मैने कई लोगों को देखा है कि चालीस पचास लाख रूपये खर्च कर के आली शान घर बनाते हैं और रहने वाले सिर्फ चार से पाँच अफराद होते हैं जिन में दो मियाँ बीवी और दो तीन बच्चे, यह बड़ी अजीब बात है।
अब्दे मुस्तफ़ा
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